आगरा में झमाझम बारिश, जून-अगस्त में 26% ज्यादा वर्षा

सुबह से छाए बादल, दोपहर में हुई तेज बरसात 

आगरा में मंगलवार को सुबह से ही आसमान में बादल छाए रहे| उमसभरी गर्मी से परेशान लोगों को दोपहर करीब 12 बजे अचानक हुई झमाझम बारिश ने राहत दी| लगभग 15 मिनट तक हुई तेज बारिश से गलियों और बाजारों में पानी बह निकला| हालांकि बारिश कम समय के लिए हुई, इसलिए बड़े पैमाने पर जलभराव की स्थिति नहीं बनी| बारिश की बौछारों ने गर्मी से जूझ रहे लोगों को ठंडी हवाओं का एहसास कराया| 

मानसून में भीगते लोग आगरा

मौसम विभाग का अलर्ट: 2 और 3 सितंबर को भी होगी बारिश 

मौसम विभाग के अनुसार, आगरा में 2 और 3 सितंबर को भी बारिश का अनुमान है| विशेषज्ञों का कहना है कि रुक-रुक कर कई चरणों में वर्षा होगी| दिनभर तापमान में उतार-चढ़ाव रहेगा| सुबह हल्की बूंदाबांदी के बाद दोपहर में गरज-चमक के साथ तेज बारिश की संभावना है| 

जून - जुलाई - अगस्त में कैसा रहा आगरा का बारिश का हाल? 

मौसम विभाग की रिपोर्ट बताती है कि इस बार मानसून में आगरा मंडल के ज्यादातर जिलों में सामान्य से अधिक वर्षा हुई है| 

. जून: आगरा में जून महीने में 177.5 मिमी बारिश हुई, जबकि सामान्य औसत 60.9 मिमी है| यानी जून में 191% अधिक बारिश दर्ज की गई| 

. जुलाई: 1 जून से 31 जुलाई तक आगरा में 389 मिमी बारिश हुई, जबकि सामान्य औसत 240.1 मिमी होता है| इस तरह जुलाई में 62% ज्यादा बारिश हुई| 

. अगस्त: 1 जून से 31 अगस्त तक आगरा में 549.2 मिमी बारिश दर्ज हुई, जबकि औसत 434.6 मिमी है| यानी अगस्त में 26% अधिक बारिश हुई| 

इस बार सबसे ज्यादा बारिश फिरोजाबाद जिले में हुई, जहां सामान्य से लगभग 50% अधिक वर्षा हुई| वही मथुरा में 19% अधिक और आगरा जिले में 26% अधिक बारिश दर्ज की गई| केवल मैनपुरी जिले में ही सामान्य से 9% कम वर्षा दर्ज की गई| 

बारिश से मिली उमस से राहत 

तेज बारिश के बाद लोगों ने राहत की सांस ली| पिछले कई दिनों से उमस और तपिश ने लोगों का हाल बेहाल कर रखा था| बरसात होते ही गलियों, बाजारों और मोहल्लों में बच्चों ने भीगने का खूब माजा लिया| बारिश ने तापमान को भी नीचे खींचा, जिससे मौसम सुहाना हो गया| 

किसानों के लिए फायदेमंद साबित हो रही बारिश 

इस बार हुई अधिक वर्षा से किसानों के चेहरे भी खिले हुए है| खेतों में धान, बाजरा और ज्वार जैसी फसलों को भरपूर पानी मिला है| बारिश की वजह से फसल उत्पादन बेहतर होने की उम्मीद जताई जा रही है| हालांकि, ज्यादा देर तक लगातार बारिश होने पर कुछ निचले इलाकों में जलभराव की समस्या भी सामने आई है| 

आम जनता की चुनौतियां ( आगरा मौसम न्यूज ) 

हालांकि बारिश ने राहत दी है, लेकिन शहर के कई इलाकों में जलभराव और कीचड़ ने लोगों की मुश्किलें भी बढ़ाई है| संकरी गलियों और बाजारों में जलजमाव से लोगों को निकलने में परेशानी हो रही है| जगह-जगह गड्ढों और टूटे रास्तों ने समस्या को और गंभीर बना दिया| 

सितंबर का मौसम कैसा रहेगा? 

मौसम विभाग के अनुसार सितंबर की शुरूआत भी बारिश के साथ होगी| 2 और 3 सितंबर को तेज बारिश का अलर्ट है| इसके बाद मानसून धीरे-धीरे कमजोर होने लगेगा| हालांकि सितंबर के मध्य तक रुक-रुक कर बूंदाबांदी का सिलसिला जारी रह सकता है| 

आगरा मंडल का बारिश डेटा (1 जून से 31 अगस्त तक ) 

1. फिरोजाबाद: सामान्य से 50% अधिक बारिश 
2. आगरा: सामान्य से 26% अधिक बारिश 
3. मथुरा: सामान्य से 19% अधिक बारिश 
4. मैनपुरी: सामान्य से 9% कम बारिश 

लोगों की प्रतिक्रियाएं 

बारिश के बाद स्थानीय लोगों ने सोशल मीडिया पर तस्वीरें और वीडियो शेयर लिए| कई लोग सड़कों पर बारिश का आनंद लेते दिखे| दुकानों के बाहर लोग चाय-समोसे का लुत्फ उठाते नगर आए| वहीं छोटे बच्चे पानी में खेलते हुए देखे गए| 

2025 में मॉनसून की स्थिति 

भारतीय मौसम विभाग (IMD) के मुताबिक, इस साल मानसून की वापसी में देरी होगी| 

. मॉनसून 17 सितंबर के बाद ही पीछे हटना शुरू करेगा| 
. उत्तर भारत से पूरी तरह मॉनसून अक्टूबर के मध्य तक समाप्त हो सकता है| 
. यानी आगरा में सितंबर के आखिर तक रुक-रुक कर बुंदाबांदी और कभी-कभी तेज बारिश की संभावना बनी रहेगी| 

सितंबर-ऑक्टूबर का पूर्वानुमान 

. सितंबर: रुक-रुक कर हल्की से मध्यम बारिश जारी रहेगी|
. अक्टूबर की शुरुआत: मॉनसून कमजोर होगा, लेकिन हल्की फुहारे गिर सकती है|
. अक्टूबर मध्य तक: आगरा और आसपास से मॉनसून पूरी तरह विदा हो जाएगा| 

निचले इलाकों में सतर्कता जरूरी 

प्रशासन ने लोगों से अपील की है कि वे बारिश के दौरान निचले इलाकों में सतर्क रहें| कही भी जलभराव होने पर तुरंत नगर निगम को सूचित करें| बिजली से जुड़ी सुरक्षा का भी ध्यान रखें| 

आगरा में मॉनसून इस बार उम्मीद से ज्यादा मेहरबान रहा है| जून, जुलाई और अगस्त - तीनों महीनों में सामान्य से अधिक बारिश दर्ज की गई| बारिश ने जहां उमस और गर्मी से राहत दी, वही किसानों की फसलों को भी फायदा हुआ| अब देखना यह है कि सितंबर में मॉनसून और कितनी मेहरबानी दिखाता है| 

Sita Sharma

स्वतंत्र लेखिका और ब्लॉगर लोकल न्यूज, मौसम अपडेट और ट्रेडिंग खबरों पर लिखना पसंद करती हैं

एक टिप्पणी भेजें

Please Select Embedded Mode To Show The Comment System.*

और नया पुराने